धनतेरस का पर्व आज, ब्रह्म योग में कुबेर पूजन से घर में आएगी समृद्धि


बरेली:- पंच दिवसीय दीपावली का पहला दिन धन त्रयोदशी से आरंभ होता है। प्रदोष व्यापिनी कार्तिक कृष्ण पक्ष की त्रयोदशी के दिन धन-त्रयोदशी मनाई जाती है। 25 अक्तूबर को उत्तराफाल्गुनी नक्षत्र एवं ब्रह्मयोग में धनतेरस का पर्व मनाया जाएगा। इस दिन गो वत्स द्वादशी है और साथ ही सर्वार्थसिद्धि एवं राजयोग भी सूर्योदय से है। इस दिन द्वादशी तिथि की समाप्ति सांय 7:08 बजे होगी। तदोपरान्त त्रयोदशी तिथि आरम्भ होगी।


बालाजी ज्योतिष संस्थान के पं0 राजीव शर्मा ने बताया कि पौराणिक मान्यताओं के अनुसार इस दिन भगवान धन्वंतरि का जन्म हुआ था। भगवान धन्वंतरि आयुर्वेद विद्या के जनक माने जाते हैं। खरीददारी के लिए शुभ मुहूर्त प्रात: काल 7:40 से 10:39 तक लाभ, अमृत के चौघड़िया में, अपराह्न 12:03 से अपराह्न 1:27 बजे तक शुभ के चौघड़िया में और रात 8:53 से रात 10:58 तक फिर लाभ के चौघड़िया मुहूर्त में है। किसान लोग इस दिन सबूत धनिया खरीदकर लाते हैं और उसे गमलों में बोते हैं। ऐसा मानते हैं कि जिस घर मे जितनी अधिक पैदावार होगी, वहां लक्ष्मी जी की उतनी ही कृपा रहेगी। पं. राजीव शर्मा बताते हैं कि इस दिन कुबेर की पूजा भी होती है। चांदी उन्हें पसंद है तो चांदी खरीदना भी शुभ रहेगा। पीतल भगवान धन्वंतरि से संबंधित धातु है, इसका खरीदना परिवार के अच्छे स्वास्थ्य का सूचक है। कुछ व्यापारी लोग धनतेरस पर नए बही खाते खरीदते हैं और दीवाली पर इसकी पूजा करते हैं। इस दिन विशेष तौर पर मां लक्ष्मी और श्री गणेश जी की मूर्ति खरीदना शुभ रहता है क्योंकि मां लक्ष्मी समृद्धि प्रदान करतीं हैं और गणेश जी सद्बुद्धि। इस दिन मां लक्ष्मी की मूर्ति खरीदने से घर धन-धान्य से भरपूर रहता है।


रिपोर्टर:- कपिल यादव