असलम खान हत्याकांड - करीबी ही तो नहीं सपा नेता के कत्ल का सूत्रधार


बरेली:- फतेहगंज पश्चिमी में छह दिन पहले कस्बे में हुई सपा के पूर्व नगर अध्यक्ष असलम खान की हत्या में किसी करीबी का हाथ होने की आशंका जताई जा रही है। दबी जुबान कस्बे के लोग इसकी खूब चर्चा कर रहे हैं। हालांकि पुलिस इस मामले में कुछ भी कहने से बच रही है। थाना प्रभारी ने जल्द खुलासे के संकेत दिए हैं। छह दिन पहले कस्बा स्थित रोड किनारे अपने मेडिकल स्टोर पर बैठे सपा के पूर्व नगर अध्यक्ष असलम खान की बाइक से आए लोगों ने गोली मारकर हत्या कर दी थी।इसमें उनकी पत्नी सभासद शबनम ने कस्बे के ही तीन लोगों को नामजद कराया था।हालांकि पुलिस सभी पहलुओं पर विवेचना और धरपकड़ कर रही है। कस्बा में चर्चा है असलम का उनके ही करीबी से पिछले काफी समय से झगड़ा चल रहा था। बस्ती के लोगों ने कई बार पंचायत करके झगड़े को खत्म कराने का प्रयास भी किया। सूत्र बताते हैं कि दोनों में इतनी नोकझोंक हो गई थी। असलम ने अपने उस करीबी से अपनी मौत में भी आने को मना कर दिया था। समझौता होने पर दोनों फिर साथ तो बैठने लगे लेकिन दिलों में दूरियां बरकरार रहीं।


हिम्मत दिखाते तो पकड़ जाता शूटर
प्रत्यक्षदर्शी बताते है कि जब शूटर ने जब असलम को गोली मारी तो मेडिकल स्टोर में उनके पास कई लोग बैठे थे। उनके भाई अकरम खान भी वहां थे। शूटर ने जब पहला फायर किया तो वह दुकान के काउंटर में लगा था।शूटर ने फिर तमंचा लोड करके दूसरा फायर किया। मेडिकल स्टोर में बैठे लोग हिम्मत दिखाते तो फायर लोड करने और बाइक तक पहुंचने के समय में शूटर को आराम से पकड़ सकते थे।


रिपोर्टर:- कपिल यादव