बरेली: 54 साल बाद बरेली वालों को मिला झुमका, केन्द्रीय मंत्री संतोष गंगवार ने किया झुमके का उद्घाटन


बरेली:- बरेलियंस को आखिरकार 54 साल के बाद झुमका मिल ही गया। करीब 5 दशक पहले अभिनेत्री साधना पर एक गाना झुमका गिरा रे, बरेली के बाजार में फिल्माया गया था। शनिवार को जीरो प्वाइंट पर झुमके का उद्धाटन केंद्रीय मंत्री संतोष गंगवार ने किया है। झुमका लगने से शहर की पुरानी यादों को ताजा किया गया है। अब यह चौराहा झुमका तिराहे के नाम से जाना जाएगा। कार्यक्रम में शहर विधायक, डीआईजी और डीएम, एसएसपी भी मौजूद रहे। परसाखेड़ा जीरो पॉइंट पर दो कुंतल 70 किलो का झुमका लगाकर उस स्थान को झुमका तिराह का नाम दिया गया है। रोहिलखंड मेडिकल कॉलेज के कुलाधिपति डॉ केशव अग्रवाल के सहयोग से बीडीए ने झुमका लगवाया है। शनिवार की शाम को कार्यक्रम का उद्घाटन केंद्रीय मंत्री संतोष गंगवार ने बतौर मुख्य अतिथि फीता काटकर किया। केंद्रीय मंत्री ने कहा कि बरेली में झुमका के साथ ही जल्द ही हवाई सेवा भी शुरू करा दी जाएगी। झुमके के साथ ही 270 ग्राम के मोमेंट भी तैयार कराकर अतिथियों को  सम्मान में भेंट किए गए।


अब मिला गिरा हुआ झुमका
मुंबई से आए फिल्म अभिनेता मुकेश भारती व अभिनेत्री मंजू भारती ने कहा कि अभी तक फिल्मों में झुमका गिरा रे बरेली के बाजार में गीत सुनने को मिलता था। मगर झुमका किस स्थान पर गिरा यह नजर नहीं आता था। मगर अब उनकी आने वाली फिल्म प्यार का ट्विस्ट में बरेली का यह स्थान देखने को मिलेगा। जल्द ही उक्त फिल्म के लिए इस स्थान की शूटिंग भी की जाएगी। उद्घाटन समारोह में डॉ. केशव अग्रवाल, शहर विधायक डॉ. अरुण कुमार, विधायक बहोरन लाल मौर्य, केसर सिंह, डॉ. डीसी वर्मा के साथ डीआईजी राजेश पांडेय, बीडीए अध्यक्ष रणवीर प्रसाद, डीएम नितीश कुमार, एसएसपी शैलेश कुमार पांडे, बीडीए वीसी दिव्या मित्तल, सचिव अमरीश श्रीवास्तव मौजूद रहे। छात्राओं ने सांस्कृतिक कार्यक्रम किए गए।


मुंबई के रजनीश ने बनाया था झुमके का डिजाइन
बरेली विकास प्राधिकरण ने 2016 में झुमके से शहर को पहचान दिलाने के लिए प्रोजेक्ट बनाया। झुमके के 28 डिजाइन प्राधिकरण को मिले। मुंबई के डिजायनर रजनीश अग्रवाल का झुमका चुना गया। बीडीए ने रजनीश को 25 हजार का पुरस्कार दिया था। निर्णायक मंडल के मेंबर डॉ. शशिबाला राठी, डॉ. मंजू सिंह, निर्विकार सिंघल आदि थे।


बीडीए वीसी ने की थी झुमका चौराहे की पहल
पर्यटन विकास विभाग के विशेष सचिव व एमडी पर्यटन विकास निगम की जिम्मेदारी संभालने के बाद 2016 में डॉ. शशांक विक्रम ने बीडीए उपाध्यक्ष की कमान संभाली। उन्होंने ही झुमके का प्रोजेक्ट तैयार किया और जनता से राय ली थी। स्कीम बनाकर डेलापीर चौराहे पर रोटरी बनाने का फैसला लिया था। 10 लाख रुपये के एस्टीमेट को भी मंजूरी दी थी।


सियासत पर भारी पड़ा झुमका
परसाखेड़ा स्थित जीरो प्वाइंट पर लगे झुमके को लेकर सियासत भी हुई। मेयर से लेकर बीडीए सदस्य और पार्षदों ने झुमके के कार्यक्रम का बहिष्कार कर दिया था। शनिवार को यह नजारा देखने को मिला। आयोजित झुमका कार्यक्रम में मेयर डॉ. उमेश गौतम ने दूरी बनाए रखी। बीडीए के सदस्यों में केवल राजेश अग्रवाल पहुंचे। निगम अधिकारी व पार्षद भी शामिल नहीं हुए। मौलाना तौकीर ने शहीद के नाम से तिराहे का नाम रखने की मांग की है।


शहर की पहचान झुमके से भी है। प्राधिकरण को यह झुमका लगाना था और शहर को स्मार्ट बनाने के लिए हमारी शुरुआत कामयाब रही। कुछ लोग हैं जो विरोध कर रहे थे। तमाम विरोध के बीच झुमके तिराहे का उद्घाटन किया गया।
दिव्या मित्तल, उपाध्यक्ष बीडीए


बरेली ब्यूरो:- कपिल यादव